रायगढ़: नवमी की छात्रा को प्यार के जाल मे फंसाकर भगा ले जाने वाले इस मिली 20 साल की कैद….

IMG-20220729-WA0013.jpg

रायगढ़। कक्षा नवमीं की एक नाबालिग छात्रा को इश्क के जाल में फंसाकर भगा ले जाने के बाद उसकी आबरू से खेलने के मामले में फास्ट ट्रेक कोर्ट ने आरोप प्रमाणित होने पर मुल्जिम युवक को 20 बरस की सजा सुनाई। साथ ही 2 हजार रूपये के अर्थदंड से दंडित भी किया। यही नहीं, अर्थदंड भुगतान नहीं होने पर आरोपी को 5 माह का अतिरिक्त सजा भी भुगतना होगा।

पूरा मामला

अभियोजन के संक्षिप्त विवरण के अनुसार खरसिया थाना क्षेत्र के ग्राम करूमौहा निवासी गणेश महंत पिता इतवारी दास महंत (26 साल) ने कक्षा नवमीं में पढ़ने वाली 17 वर्षीया एक छात्रा को बरगलाते हुए प्रेमजाल में फांस लिया। तीन बहनों और एक भाई में सबसे बड़ी छात्रा विगत 12 नवंबर 2019 की रात अपनी मां के साथ सोई थी तो गणेश उसे अपने संग भगा ले गया। सुबह सोकर उठने पर जब महिला ने अपनी नाबालिग बेटी को घर से कपड़े, आधार कार्ड, चप्पल के साथ नदारत देख पतासाजी की मगर वह नहीं मिली। चूंकि, उसी रात से गणेश भी गायब था, इसलिए संदेही के तौर पर महिला ने उसके खिलाफ थाने में शिकायत दर्ज कराई। दूसरी तरफ छात्रा को उसके घर से भगाने वाला गणेश उसे सरगुजा जिले के सीतापुर ले गया और उसकी अस्मत से खेलता रहा। वहीं, मामले की रिपोर्ट पर पुलिस ने आरोपी गणेश महंत के खिलाफ 363, 366, 376 (2) (ढ़) और धारा 6 लैगिंक अपराधों से बालकों का संरक्षण अधिनियम 2012 के तहत अपराध पंजीबद्ध करते हुए घटना को विवेचना में लिया। इस बीच सघन पतासाजी के दौरान पुलिस ने 17 नवंबर 2019 को गणेश को अपहृत छात्रा के साथ सीतापुर में खोज निकालते हुए पकड़ लिया। साथ ही प्रकरण तैयार करते हुए चालान को न्यायालय में पेश किया।

कोर्ट ने सुनाई 20 साल की कारावास
फास्ट ट्रैक कोर्ट की अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश श्रीमती प्रतिभा वर्मा ने दोनों पक्षों की दलील और प्रकरण से जुड़े सबूतों को ध्यान में रखते दोष सिद्ध होने पर आरोपी गणेश महंत को 20 साल की सजा सुनाते हुए अलग-अलग धाराओं के तहत 2 हजार रुपए के अर्थदंड से दण्डित भी किया। वहीं, अर्थदंड की राशि समय पर चुकता नहीं करने पर आरोपी को 5 महीने अतिरिक्त सजा काटने का प्रावधान भी इसमें सम्मिलित किया गया। शासन की तरफ से विशेष लोक अभियोजक मोहन सिंह ठाकुर ने पैरवी की।

Recent Posts